हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री औमप्रकाश चौटाला मंगलवार 2 मई को तलवंडी राणा धरने पर पहुंचेंगे। यह जानकारी देते हुए रोड बचाओ संघर्ष समिति के अध्यक्ष ओ.पी. कोहली ने बताया कि औमप्रकाश चौटाला दोपहर 12 बजे धरने पर आएंगे और धरने को संबोधित करेंगे। इस अवसर पर उनके साथ इनेलो पार्टी के अनेक वरिष्ठ नेता भी मौजूद रहेंगे। ओ.पी. कोहली ने बताया कि ग्रामीण पूर्व मुख्यमंत्री को रोड से संबंधित सभी परिस्थितियों से अवगत करवाएंगे। उन्होंने बताया कि सोमवार को धरने का 84वां दिन था। ग्रामीणों के धरने को लगभग तीन माह होने को हैं लेकिन सरकार उन्हें स्थायी सडक़ मार्ग देने की दिशा में कोई गंभीर प्रयास नहीं कर रही है। सरकार ग्रामीणों के धैर्य की परीक्षा ले रही है लेकिन जब तक हमें परमानेंट सडक़ नहीं मिल जाती हम धरने से एक ईंच भी नहीं हिलेंगे। धरने पर लगातार भारी संख्या में महिलाएं, पुरुष, युवा, बुजुर्ग, बच्चे पहुंच रहे हैं और पूरे जोश के साथ धरने को अपना समर्थन दे रहे हैं। इसके साथ ही विभिन्न राजनीतिक पार्टियों व संगठनों का समर्थन भी लगातार जारी है।

कोहली ने बताया कि पिछले लगभग तीन महीनों से तलवंडी राणा व आसपास के दर्जनों गांव के ग्रामीण सरकार की मनमानी का नतीजा भुगत रहे हैं। सरकार ने ग्रामीणों को सूचित किए बिना ही रातों-रात सडक़ उखाड़ दी और अब उन्हें दूसरा स्थायी सडक़ मार्ग भी बनाकर नहीं दिया जा रहा। सरकार चाहे तो कुछ दिनों में ही यह रोड बनकर तैयार हो सकता है लेकिन कई महीने बीत जाने के बाद भी सडक़ का निर्माण नहीं करवाना सरकार की मंशा पर सवाल खड़े करता है। कभी जमीन अधिग्रहण का तो कभी किसी विभाग से क्लियरेंस का बहाना बनाकर सडक़ के निर्माण में देरी की जा रही है। इससे ग्रामीणों में लगातार रोष बढ़ता रहा है। उन्होंने ने कहा कि सरकार बिना किसी देरी के ग्रामीणों को एयरपोर्ट की बाहरी दीवार के साथ-साथ स्थायी सडक़ दे ताकि रोड बंद हो जाने से जिन लाखों ग्रामीणों का जीवन प्रभावित व दूभर हुआ है वह सामान्य हो सके।
धरने पर मुख्य रूप से सिटू जिला अध्यक्ष सुरेश कुमार व उनके साथ अनेक कर्मचारी, प्रेम मलिक, धर्मपाल बागड़ी, देवीलाल रंगा, दीपक सूरा, ओमप्रकाश धांसू, प्रीतम सिंह, सुशील ज्याणी, जागेराम, ऋषिराम, ठंडूराम, संतलाल, सुभाष पंच, मंगतू राम, राजू, राधेश्याम नंबरदार, जयपाल दूधिया, रमेश जुगलान, दिलबाग चौपड़ा, ओमी पहलवान, विनोद भाटिया, लूणा राम जांगड़ा, त्रिलोक गुरी, गुलाब, कालूराम, अंजू, रामरती, केलापति, अनिता, सुषमा, खेमचंद, लीलाराम खटाणा, जयबीर जुगलान सहित सैकड़ों की संख्या में महिलाएं, पुरुष, बुजुर्ग, युवा बच्चे मौजूद रहे।
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